सरकारी बजट एवं अर्थव्यवस्था

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प्रश्न 1 अर्थव्यवस्था के कितने भाग हैं ?

उत्तर अर्थव्यवस्था के दो भाग होते हैं एक राज्य तथा दूसरा निजी क्षेत्र।

 

प्रश्न 2 मिश्रित अर्थव्यवस्था किसे कहते हैं ?

उत्तर एक अर्थव्यवस्था जिसमें निजी क्षेत्र तथा सरकारी क्षेत्र दोनों हो, मिश्रित अर्थव्यवस्था कहलाती हैं।

 

प्रश्न 3 सरकार द्वारा अनुमानित प्राप्तियों तथा खर्चों का ब्यौरा कहां पेश किया जाता है ?

उत्तर संसद में।

 

प्रश्न 4 वित्तीय वर्ष की अवधि कब से कब तक होती हैं?

उत्तर 1 अप्रैल से 31 मार्च तक 

 

प्रश्न 5 वित्तीय वर्ष एवं बजट के प्रावधान संविधान की किस धारा में बताए गए हैं ?

उत्तर संविधान की धारा 112 मे।

 

प्रश्न 6 सरकार का मुख्य बजट संबंधी घोषणा पत्र किसे कहा जाता है ?

उत्तर “वार्षिक वित्तीय ब्यौरा” सरकार का मुख्य बजट संबंधी घोषणा पत्र कहलाता है।

 

प्रश्न 7 बजट घोषणा पत्र का संबंध कितनी समयावधि से होता है ?

उत्तर बजट घोषणा पत्र का संबंध एक वित्तीय वर्ष अर्थात 1 वर्ष की समयावधि से होता है।

 

प्रश्न 8 कितने तरह के खाते वित्तीय वर्ष से संबंधित हैं ?

उत्तर दो तरह के खाते – (1) राजस्व खाते (2) पूंजीगत खाते।

 

प्रश्न 9 पूंजीगत बजट किसे कहा जाता है ?

उत्तर जिनका संबंध सरकार की संपत्ति तथा देनदारियों से होता है, उन्हें पूंजीगत बजट कहा जाता है।

 

प्रश्न 10 जन – कल्याण बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका किसके द्वारा निभाई जाती है ?

उत्तर सरकार के द्वारा।

 

प्रश्न 11 सार्वजनिक वस्तुएं किन्हे कहा जाता है ?

उत्तर सरकार निश्चित वस्तुओं तथा सेवाओं को उपलब्ध करवाती है, जिन्हें बाजार तंत्र के द्वारा उपलब्ध नहीं करवाया जा सकता अर्थात उपभोक्ताओं तथा उत्पादकों में विनिमय के द्वारा उपलब्ध नहीं करवाया जा सकता। इस प्रकार की वस्तुओं के उदाहरण है – राष्ट्रीय सुरक्षा, सड़के तथा सरकारी प्रशासन, इन्हें सार्वजनिक वस्तुएँ कहा जाता है।

 

प्रश्न 12 निजी वस्तुओं एवं सार्वजनिक वस्तुओं में अंतर बताइए 

उत्तर सार्वजनिक वस्तुएं सभी के लिए उपलब्ध होती है, इनके लाभ किसी एक विशेष उपभोक्ता तक ही सीमित नहीं रहते हैं, बल्कि सभी के लिए उपलब्ध होते हैं। जबकि निजी वस्तुओं के उपयोग एवं उपभोग में ऐसा नहीं होता है। निजी वस्तुओं के उपभोग में प्रतिद्वंद्धी संबंध होता है, जबकि सार्वजनिक वस्तुओं के उपभोग में प्रतिद्वंधात्मक संबंध नहीं होता है।

व्यक्ति को निजी वस्तुओं के भुगतान के अभाव में उनके उपयोग से वंचित किया जा सकता है, जबकि सार्वजनिक वस्तुओं के उपयोग के संबंध में ऐसा नहीं होता है। इसलिए निजी वस्तुओं को अपवर्जनीय तथा सार्वजनिक वस्तुओं को गैर – अपवर्जनीय वस्तुएं कहां जाता है।

 

प्रश्न 13 मुफ्तखोर किसे कहा जाता है ?

उत्तर यदि कुछ उपभोक्ता भुगतान नहीं करते हैं तो भी सार्वजनिक वस्तुओं के लिए शुल्क एकत्रित करना कठिन ही नहीं, अपितु बहुत बार असंभव हो जाता है। इन भुगतान दिए बिना उपयोग करने वाले को मुफ्तखोर कहां जाता है।

 

प्रश्न: 14 क्या सार्वजनिक प्रावधान तथा सार्वजनिक उत्पादन एक ही होते हैं ?

उत्तर नहीं, सार्वजनिक प्रावधान तथा सार्वजनिक उत्पादन में अंतर होता है।

 

प्रश्न 15 सार्वजनिक क्षेत्र की वस्तुओं से क्या अभिप्राय है ?

उत्तर: सार्वजनिक क्षेत्र की वस्तुओं से अभिप्राय उन वस्तुओं से है, जिनका वित्तपोषण बजट के द्वारा होता है तथा बिना कोई प्रत्यक्ष भुगतान करें इनका उपयोग किया  सकता है।

 

प्रश्न:- 16 सार्वजनिक वस्तुओं का उत्पादन किनके द्वारा किया जा सकता है ?

उत्तर: सार्वजनिक वस्तुओं का उत्पादन निजी क्षेत्र के द्वारा या सरकार के द्वारा किया जा सकता है।

 

प्रश्न: 17 सार्वजनिक उत्पादन किसे कहा जाता है ?

उत्तर: जब वस्तुओं का उत्पादन सीधे सरकार द्वारा किया जाता है, तो इसे सार्वजनिक उत्पादन कहा जाता है।

 

प्रश्न: 18 सरकार द्वारा सार्वजनिक वस्तुओं की आपूर्ति को क्या कहा जाता है?

उत्तर: सरकार द्वारा सार्वजनिक वस्तुओं की आपूर्ति को आवंटन कार्य कहा जाता है।

 

प्रश्न: 19 राष्ट्रीय आय के प्रवाह का निजी क्षेत्र अर्थात फर्मों तथा घरेलू क्षेत्र की ओर होना क्या कहलाता है ?

उत्तर: निजी आय कहा जाता है।

 

प्रश्न: 20 राष्ट्रीय आय का प्रवाह सरकार की ओर होना क्या कहलाता है ?

उत्तर: सार्वजनिक आय कहा जाता है।

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प्रश्न 21 वैयक्तिक आय किसे कहा जाता है ?

उत्तर निजी आय में से जो भाग अंततः घरेलू क्षेत्र तक पहुंचता है, उसे वैयक्तिक आय कहा जाता है।

 

प्रश्न: 22 प्रयोज्य आय किसे कहा जाता है ?

उत्तर: वैयक्तिक आय का वह भाग जिसको खर्च किया जा सकता है, वह प्रयोज्य आय कहलाता है।

 

प्रश्न 23 सरकार घरेलू क्षेत्र की प्रयोज्य आय को किस प्रकार प्रभावित कर सकती है ?

उत्तर सरकारी क्षेत्र हस्तांतरण भुगतान के द्वारा तथा कर एकत्रीकरण के द्वारा घरेलू क्षेत्र की प्रयोज्य आय को प्रभावित कर सकता है।

 

प्रश्न 24 सरकार द्वारा आज का घरेलू क्षेत्र की आय को प्रभावित करना किस प्रकार का कार्य है ?

उत्तर यह वितरण कार्य है।

 

प्रश्न 25 अर्थव्यवस्था में रोजगार का तथा कीमतों का स्तर किस पर निर्भर करता है ?

उत्तर कुल मांग पर। 

 

प्रश्न 26 कुल मांग किस पर निर्भर करती है ?

उत्तर कुल मांग सरकार तथा निजी क्षेत्र के कारकों के विनियोग पर निर्भर करती है। 

 

प्रश्न 27 अधिक रोजगार की स्थिति में मांग यदि उपलब्ध उत्पादन से अधिक हो जाए, तो किस स्थिति की संभावना हो सकती है ?

उत्तर मुद्रास्फीति की।

 

प्रश्न 28 मुद्रास्फीति की स्थिति में मांग को कम करने के लिए किन उपायों की आवश्यकता हो सकती है ?

उत्तर प्रतिबंधात्मक उपायों की। 

 

प्रश्न 29 मांग का विस्तार करने अथवा कम करने के लिए सरकार के द्वारा हस्तक्षेप कार्य क्या कहलाता है ?

उत्तर इसे स्थिरीकरण कार्य कहते हैं।

 

प्रश्न 30 राजस्व प्राप्तियां किसे कहते हैं ?

उत्तर राजस्व प्राप्तियां वे प्राप्तियां है जिनका दावा सरकार से नहीं किया जा सकता हैं। 

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प्रश्न 31 राजस्व प्राप्तियों को और किस नाम से जाना जाता है ?

उत्तर इन्हें गैर – प्रतिदेय कहा जाता है। 

 

प्रश्न 32 राजस्व प्राप्तियों को कितने भागों में विभाजित किया जाता है ?

उत्तर राजस्व प्राप्तियों को कर तथा गैर-कर राजस्व में विभाजित किया जाता है।

 

प्रश्न 33  कर राजस्व को कितने भागों में विभाजित किया जाता है ?

उत्तर प्रत्यक्ष कर और अप्रत्यक्ष कर।

 

प्रश्न 34 प्रत्यक्ष कर विधि किसे कहते हैं ?

उत्तर वैयक्तिक आय तथा फर्मों के लिए निगम कर।

 

प्रश्न 35 उत्पादन कर किसे कहते हैं ?

उत्तर देश में उत्पादित वस्तु पर लगाए गए कर उत्पादन कर कहलाते हैं।

 

प्रश्न 36 सीमा शुल्क किसे कहते हैं ?

उत्तर आयातित तथा निर्यातित वस्तुओं पर लगाए गए कर तथा सेवा कर। 

 

प्रश्न 37 कागजी कर किसे कहा जाता है ?

उत्तर प्रत्यक्ष करो जैसे संपत्ति कर, उपहार कर तथा संपत्ति शुल्क (अब समाप्त) से कभी भी बहुत राजस्व का संग्रह नहीं हुआ हैं, इसीलिए इन्हें ‘कागजी कर’ भी कहा जाता है। 

 

प्रश्न 38 प्रगतिशील करारोपण किसे कहते हैं ?

प्रगतिशील करारोपण के अंतर्गत जैसे-जैसे आय बढ़ती है, वैसे-वैसे कर की दर ऊंची होती जाती है। 

 

प्रश्न 39 फर्मो पर किस आधार पर कर लगाए जाते हैं ?

उत्तर फर्मों पर अनुपातिक आधार पर कर लगाए जाते हैं। कर की दर लाभयुक्त आय का एक विशेष अनुपात होती है।

 

प्रश्न 40 भिन्न-भिन्न वस्तुओं पर उत्पादन कर की दर कैसे निर्धारित होती है ?

उत्तर जीवन के लिए अनिवार्य वस्तुओं को उत्पादन कर से मुक्त रखा जाता है अथवा उन पर कर की दर निम्न होती है। सुख और अर्ध विलासिता की वस्तुओं पर सामान्य दर से कर लगाया जाता है जबकि पूर्ण विलासिता संबंधी वस्तुओं जैसे तंबाकू और पेट्रोलियम उत्पादों पर कर की दर काफी ऊंची होती है। 

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प्रश्न 41 वस्तु एवं सेवा कर पर टिप्पणी लिखिए।

उत्तर भारतीय कर प्रणाली में GST (वस्तु एवं सेवा कर) के प्रवेश के साथ एक विशाल परिवर्तन हुआ। यह कर (GST) वस्तुओं तथा सेवाओं दोनों पर लगाया जाएगा तथा केंद्र , 28 राज्यों तथा 7 केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा 1 जुलाई 2017 से लागू किया गया। 

 

प्रश्न 42 जी.एस.टी. का पूरा नाम बताइए ।

उत्तर वस्तु एवं सेवा कर।

 

प्रश्न 43 जी.एस.टी. कब लागू हुआ ?

उत्तर 1 जुलाई 2017 को लागू हुआ।

 

प्रश्न 44 केंद्र सरकार के गैर कर राजस्व के मुख्य घटक कौन से हैं ?

उत्तर केंद्र सरकार द्वारा जारी ऋण ब्याज प्राप्तियां, सरकार के निवेश से प्राप्त लाभांश और लाभ तथा सरकार द्वारा प्रदान की गई सेवाओं से प्राप्त शुल्क, विदेश और अंतरराष्ट्रीय संगठनों द्वारा प्रदान किए जाने वाले नकद सहायता अनुदान भी शामिल किए जाते हैं। 

 

प्रश्न 45 बजट अधिशेष किसे कहा जाता है ?

उत्तर जब कर से प्राप्त राशि आवश्यक आय से अधिक होती है, तो इसे बजट अधिशेष कहा जाता है।

 

प्रश्न 47 पूंजीगत प्राप्तियां किसे कहते हैं ?

उत्तर सरकार की ऐसी सभी प्राप्तियां जिनसे देयता पैदा हो या वित्तीय संपतिया कम हो, पूंजीगत प्राप्तियां कहलाती है।

 

प्रश्न 48 पूंजीगत प्राप्तियां कितने प्रकार की होती है ?

उत्तर पूंजीगत प्राप्तियां ऋण उत्पादक या गैर-ऋण उत्पादक हो सकती है।

 

प्रश्न 49 सरकार द्वारा नए ऋण लेने पर क्या होता है ?

उत्तर जब सरकार नए ऋण लेती है, इसका अर्थ है कि इस ऋण को लौटाया जाएगा और इस ऋण पर ब्याज दिया जाएगा।

 

प्रश्न 50 सरकार द्वारा किसी आस्तियां को बेचने पर क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर जब सरकार किसी आस्ति को बेचती है तो इसका अर्थ है कि भविष्य मे इससे आय समाप्त हो जाएगी।

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प्रश्न 51 राजस्व व्यय किसे कहते हैं ?

उत्तर राजस्व व्यय केंद्र सरकार का भौतिक या वित्तीय परिसंपत्तियों के सृजन के अतिरिक्त अन्य उद्देश्यों के लिए किया गया व्यय है।

 

प्रश्न 52 राजस्व व्यय का संबंध किस व्यय होता है ?

उत्तर राजस्व व्यय का संबंध सरकारी विभागों के सामान्य कार्यों तथा विविध सेवाओं, सरकार द्वारा उपगत ऋण ब्याज अदायगी, राज्य सरकारों और अन्य दलों को प्रदत अनुदानों आदि पर किए गए व्यय से होता हैं।

 

प्रश्न 53 कुल राजस्व व्यय को किन मदों में बांटा जा सकता हैं ?

उत्तर कुल राजस्व व्यय को योजनागत राजस्व व्यय और गैर-योजनागत राजस्व व्यय मदों में बांटा जा सकता है।

 

प्रश्न 54 योजनागत राजस्वगत व्यय का संबंध किससे हैं ?

उत्तर योजनागत राजस्वगत व्यय का संबंध केंद्रीय योजनाओं और राज्यों तथा संघ शासित प्रदेशों की योजना के लिए केंद्रीय सहायता से है।

 

प्रश्न 55 गैर-योजनागत व्यय के प्रमुख मद बताइए।

उत्तर गैर-योजनागत व्यय के प्रमुख मदों मे ब्याज अदायगी, प्रतिरक्षा सेवाएं, उपादान, वेतन और पेंशन आते हैं।

 

प्रश्न 56 किसी एक महत्वपूर्ण नीतिगत  उपकरण का नाम बताइए।

उत्तर उपदान।

 

प्रश्न 57 उपदान का उद्देश्य बताइए।

उत्तर उपदान का उद्देश्य कल्याण में वृद्धि करना है। 

 

प्रश्न 58 पूंजीगत व्यय किसे कहते हैं ?

उत्तर ये सरकार के वे व्यय है जिसके परिणामस्वरूप भौतिक या वित्तीय परिसंपत्तियों का सृजन या वित्तीय दायित्वों में कमी होती है।

 

प्रश्न 59 पूंजीगत व्यय के अंतर्गत किन व्ययों को शामिल किया जाता है ?

उत्तर पूंजीगत व्यय के अंतर्गत भूमि अधिग्रहण, भवन निर्माण, मशीनरी, उपकरण, शेयरों में निवेश और केंद्र सरकार के द्वारा राज्य सरकारों एवं संघ शक्ति प्रदेशों, सार्वजनिक उपक्रमों तथा अन्य पक्षों को प्रदान किए गए ऋण और अग्रिम संबंधी व्ययों  को शामिल किया जाता है।

 

प्रश्न 60 पूँजीगत व्यय किस रूप में वर्गीकृत किया जाता है ?

उत्तर पूँजीगत व्यय को योजनागत व्यय तथा गैर-योजनागत व्यय में वर्गीकृत किया जाता है। 

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प्रश्न 61 योजनागत पूँजीगत व्यय का संबंध किससे होता है ?

उत्तर योजनागत पूँजीगत व्यय का संबंध राजस्व व्यय के समान, केंद्रीय योजना और राज्य तथा संघ शासित प्रदेशों की योजनाओं के लिए केंद्रीय सहायता से होता है। 

 

प्रश्न 62 गैर-योजनागत पूँजीगत व्यय में किन व्ययों को शामिल किया जाता है ?

उत्तर गैर-योजनागत पूँजीगत व्यय मे सरकार द्वारा प्रदत विविध सामान्य, सामाजिक और आर्थिक सेवाओं पर व्यय शामिल होते हैं।

 

प्रश्न 63 क्या बजट प्राप्तियों और व्ययों का एक विवरण मात्र है ?

उत्तर नहीं, यह एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय नीति का विवरण है। 

 

प्रश्न 64 किस कारण से बजट एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय नीति का विवरण बन जाता है ?

उत्तर पंचवर्षीय योजनाओं की शुरुआत के कारण बजट एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय नीति का विवरण बन जाता है।

 

प्रश्न 65 देश की अर्थव्यवस्था के स्वरूप का प्रतिबिम्ब किसे कहा जाता है ?

उत्तर बजट को देश की अर्थव्यवस्था के स्वरूप का प्रतिबिम्ब कहा जाता है।

 

प्रश्न 66 बजट के संबंध में क्या तर्क दिया जाता है ?

उत्तर बजट के संबंध में तर्क दिया जाता है कि यह देश की अर्थव्यवस्था के स्वरूप का प्रतिबिंब है तथा इससे देश के आर्थिक जीवन का स्वरूप निर्धारित होता है।

 

प्रश्न 67 वित्तीय उत्तरदायित्व और बजट प्रबंधन अधिनियम कब लागू हुआ ?

उत्तर 2003 

 

प्रश्न 68 बजट प्रबंधन अधिनियम 2003 के द्वारा बजट के साथ कितने नीतिगत विवरणों का होना अनिवार्य है ?

उत्तर तीन नीतिगत विवरणों का होना अनिवार्य है। 

 

प्रश्न 69 मध्यावधि वित्तीय नीति विवरण में क्या लक्ष्य रहता है ?

उत्तर मध्यावधि वित्तीय नीति विवरण में विशिष्ट वित्तीय सूचकों के लिए 3 वर्षीय चल लक्ष्य रहता है। 

 

प्रश्न 70 मध्यावधि वित्तीय नीति विवरण किस बात का परीक्षण करता है ?

उत्तर मध्यावधि वित्तीय नीति विवरण मे विशिष्ट वित्तीय सूचकों के लिए 3 वर्षीय चल लक्ष्य रहता है जो इस बात का परीक्षण करता है कि क्या धारणीय आधार पर राजस्व प्राप्तियों के माध्यम से राजस्व व्यय किया जा सकता है और बाजार ऋण-ग्रहण सहित पूंजीगत प्राप्तियों का उपयोग कितनी उत्पादकता के रूप में किया जा रहा है।

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प्रश्न 71 राजकोषीय नीति संबंधी विवरण किसका परीक्षण करता है ?

उत्तर राजकोषीय नीति संबंधी विवरण वर्तमान नीतियों का परीक्षण और महत्वपूर्ण वित्तीय उपायों में से किसी प्रकार के विचलन के औचित्य का निर्धारण करते हुए वित्तीय क्षेत्र में सरकार के प्राथमिकताओं को तय करता है।

 

प्रश्न 72 समष्टि अर्थशास्त्रीय रूपरेखा संबंधी विवरण में किसका आकलन किया जाता है ?

उत्तर समष्टि अर्थशास्त्रीय रूपरेखा संबंधी विवरण में सकल घरेलू उत्पाद वृद्धि दर, केंद्र सरकार के वित्तीय संतुलन और बाह्य संतुलन के संबंध में अर्थव्यवस्था के भविष्य का आकलन किया जाता है। 

 

प्रश्न 73 लिंगगत बजट पर टिप्पणी लिखिए 

उत्तर वर्ष 2005 2006 के भारतीय बजट में बजटीय विनिधान की लिंग संवेदनशीलता को विशेष महत्व देते हुए एक विवरण प्रस्तुत किया गया है। लिंगगत बजट सरकार की लिंग संबंधी वचनबद्धताओं को बजटीय वचनबद्धता में रूपांतरित करने का एक और सार्थक प्रयास है, जिसमें स्त्री सशक्तिकरण के लिए विशेष पहल और स्त्रियों के लिए विभाजित संसाधनों के उपयोग का परीक्षण और सार्वजनिक व्यय के प्रभाव तथा महिलाओं के लिए सरकार की नीतियां शामिल है।

 

प्रश्न 74 संतुलित बजट किसे कहते हैं ?

उत्तर जिस बजट में आय और व्यय समान होते हैं, संतुलित बजट कहलाते हैं।

 

प्रश्न 75 अधिशेष बजट किसे कहते हैं ?

उत्तर वह बजट जिसमें सरकार की आय व्यय की तुलना में अधिक होती है, अधिशेष बजट कहलाती है।

 

प्रश्न 76 घाटे का बजट किसे कहते हैं ?

उत्तर वह बजट जिसमें सरकार के व्यय आय से अधिक होते हैं, उसे घाटे का बजट कहते हैं।

 

प्रश्न 77 बजटीय घाटा किसे कहते हैं ?

उत्तर जब सरकार राजस्व प्राप्तियों से अधिक व्यय करती है, तो इस स्थिति को बजटीय घाटा कहते हैं।

 

प्रश्न 78 राजस्व घाटा किसे कहते हैं ?

उत्तर राजस्व घाटा सरकार की राजस्व प्राप्तियों के ऊपर राजस्व व्यय के अधिशेष को बताता है। 

 

प्रश्न 79 राजस्व घाटा को ज्ञात करने का सूत्र लिखिए। 

उत्तर राजस्व घाटा = राजस्व व्यय – राजस्व प्राप्तियां 

 

प्रश्न 80 राजस्व घाटे में किन लेन-देनों को शामिल किया जाता है ?

उत्तर राजस्व घाटे में केवल उन्हीं लेन-देनों को शामिल किया जाता है, जिनसे सरकार के वर्तमान आय और व्यय पर प्रभाव पड़ता है।

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प्रश्न 81 सरकार को राजस्व घाटा प्राप्त होने से क्या संकेत मिलता है ?

उत्तर जब सरकार को राजस्व घाटा प्राप्त होता है तो इससे संकेत मिलता है कि सरकार र्निबचत कर रही है। और अर्थव्यवस्था के अन्य क्षेत्रों की बचतों का उपयोग अपने उपयोग संबंधी व्यय के कुछ हिस्सों को पूरा करने के लिए कर रही है।

 

प्रश्न 82 बहुधा सरकार किन व्ययो मे कटौती करती है ?

उत्तर बहुधा सरकार उत्पादक पूंजीगत व्यय अथवा कल्याण संबंधित व्यय में कटौती करती है।

 

प्रश्न 83 सरकार द्वारा पूंजीगत व्यय अथवा कल्याण संबंधित व्यय में कटौती का क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर इसके परिणामस्वरूप विकास की गति धीमी होती है और कल्याण पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। 

 

प्रश्न 84 राजकोषीय घाटा किसे कहते हैं ?

उत्तर राजकोषीय घाटा सरकार के कुल व्यय और ऋण-ग्रहण को छोड़कर कुल प्राप्तियों का अंतर है।

 

प्रश्न 85 सकल राजकोषीय घाटे का सूत्र लिखिए।

उत्तर सकल राजकोषीय घाटा = कुल व्यय – (राजस्व प्राप्तियां + गैर ऋण से सृजित पूँजीगत प्राप्तियां) 

 

प्रश्न 86 गैर-ऋण से सृजित प्राप्तियो की विशेषता बताइए।

उत्तर गैर-ऋण से सृजित पूँजीगत प्राप्तियां ऐसी प्राप्तियां है जो ऋण-ग्रहण के अंतर्गत नहीं आती है इसीलिए इससे ऋण में वृद्धि नहीं होती हैं।

 

प्रश्न 87 राजकोषीय घाटे का वित्तपोषण किसके द्वारा किया जाता है ?

उत्तर राजकोषीय घाटे का वित्तपोषण ऋण-ग्रहण के द्वारा ही किया जाएगा। 

 

प्रश्न 88 सकल राजकोषीय घाटा का सूत्र लिखिए। 

उत्तर सकल राजकोषीय घाटा = निवल घरेलू ऋण-ग्रहण + भारतीय रिजर्व बैंक से ऋण ग्रहण + विदेशों से ऋण ग्रहण।

 

प्रश्न 89 निवल घरेलू ऋण-ग्रहण के अंतर्गत कौन-कौन से ऋण होते हैं ?

उत्तर निवल घरेलू ऋण-ग्रहण के अंतर्गत ऋण उपकरणों (उदाहरणार्थ विविध लघु बचत योजनाएं) के माध्यम से सीधे जनता से प्राप्त ऋण और वैधानिक तरलता अनुपात एस.एल.आर. के माध्यम से अप्रत्यक्ष रूप से व्यवसायिक बैंकों से प्राप्त ऋण आते हैं।

 

प्रश्न 90 सकल राजकोषीय घाटे की एक विशेषता बताइए।

उत्तर सकल राजकोषीय घाटा अर्थव्यवस्था के स्थायित्व और सार्वजनिक क्षेत्र की सुदृढ़ वित्तीय व्यवस्था के लिए एक निर्णायक चर है।

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प्रश्न 91 राजकोषीय घाटे का सूत्र लिखिए 

उत्तर राजकोषीय घाटा = राजस्व घाटा + पूँजीगत व्यय – गैर-ऋण से सृजित पूँजीगत प्राप्तियां 

 

प्रश्न 92 राजकोषीय घाटे में राजस्व घाटे का एक बड़ा अंश क्या दर्शाता है ?

उत्तर यह दर्शाता है कि उधार का एक बड़ा हिस्सा उपभोग व्यय के लिए उपयोग किया जाता है ना कि निवेश के लिए। 

 

प्रश्न 93 प्राथमिक घाटे के माप का क्या लक्ष्य हैं ?

उत्तर प्राथमिक घाटे के माप का लक्ष्य वर्तमान राजकोषीय असंतुलन पर प्रकाश डालना है।

 

प्रश्न 94 प्राथमिक घाटा किसे कहते हैं ?

उत्तर यह वह शेष है जो राजकोषीय घाटे में से ब्याज अदायगी को घटाने पर प्राप्त होता है।

 

प्रश्न 95 सकल प्राथमिक घाटे का सूत्र लिखिए। 

उत्तर सकल प्राथमिक घाटा सकल = राजकोषीय घाटा – निवल ब्याज दायित्व ।

 

प्रश्न 96 किन्स की प्रमुख पुस्तक का नाम बताइए। 

उत्तर किन्स की प्रमुख पुस्तक का नाम “द जनरल थ्योरी ऑफ एंप्लॉयमेंट इंटरेस्ट एंड मनी” है। 

 

प्रश्न 97 किन्स के अनुसार राजकोषीय नीति का प्रयोग किस प्रकार करना चाहिए ?

उत्तर किन्स के अनुसार सरकार की राजकोषीय नीति का प्रयोग निर्गत और रोजगार के स्तर को स्थिर करने के लिए किया जाना चाहिए। 

 

प्रश्न 98 व्यय और करों में परिवर्तन के पीछे सरकार का क्या उद्देश्य होता है ?

उत्तर इसका उद्देश्य अर्थव्यवस्था के उच्चावचन को स्थिर करना होता है।

 

प्रश्न 99 एकमुश्त कर किसे कहते हैं ?

उत्तर वह कर जो आय पर निर्भर नहीं करता है, इसे एकमुश्त कर कहते हैं, जो T के बराबर होता है।

 

प्रश्न 100 करो में वृद्धि से किसमे कमी होती है ?

उत्तर करो मे वृद्धि से प्रयोज्य आय और उपभोग में कमी होती है।

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प्रश्न 101 एकमुश्त कर से उपभोग अनुसूची किस प्रकार का शिफ्ट आता है ? 

उत्तर एकमुश्त कर से उपभोग अनुसूची समांतर रूप से नीचे की ओर शिफ्ट होती है। 

 

प्रश्न 102 उत्पाद बाजार में आय निर्धारण की शर्त क्या है ?

उत्तर उत्पाद बाजार में आय निर्धारण की शर्त Y = समस्त मांग होती है, जिसे इस प्रकार लिखा जा सकता है:- 

Y = C = c ( Y – T + TR) + I + G 

 

प्रश्न 103 सरकारी खरीद(G) का एकमुश्त कर (T) से अधिक होना क्या दर्शाता है ?

उत्तर इसका अर्थ है कि सरकार घाटे का वहन करती हैं। 

 

प्रश्न 104 कर गुणक किस प्रकार का गुणक है ?

उत्तर कर गुणक एक ऋणात्मक गुणक है ।

 

प्रश्न 105 करों में कटौती/वृद्धि से उपभोग और निर्गत पर क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर करों में कटौती /वृद्धि से उपभोग और निर्गत में वृद्धि /कमी होती है, क्योंकि कर गुणांक एक ऋणात्मक गुणक होता है। 

 

प्रश्न 106 कर गुणक का निरपेक्ष मान कैसा होता है ?

उत्तर कर गुणक का निरपेक्ष मूल्य हमेशा इकाई से कम होता है।

 

प्रश्न 107 संतुलित बजट की समीकरण लिखिए 

उत्तर संतुलित बजट 

 

प्रश्न 108 सरकार एक नियत भिन्न t के रूप मे करों से आय संग्रह क्यो करती है ?

उत्तर सरकार एक नियत भिन्न t के रूप मे करों से आय संग्रह करती है ताकि T = tY हो।

 

प्रश्न 109 अनुपातिक करो के साथ उपभोग फलन लिखिए।

उत्तर अनुपातिक करो के साथ उपभोग फलन निम्नांकित

 

प्रश्न 110 उत्पाद बाजार में आय निर्धारण की शर्त क्या होती है ?

उत्तर उत्पाद बाजार में आय निर्धारण की शर्त Y =AD

होती है। जिसे इस प्रकार लिखा जा सकता है :- 

Y = A + c(1 – t)Y

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प्रश्न  111 करो में ह्रास का उपभोग पर क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर करो में ह्रास का उपभोग पर प्रभाव पड़ता है, जिससे कि उपभोग की प्रवृत्ति बढ़ जाती है। 

 

प्रश्न 112 अनुपातिक आय कर किस रूप में कार्य करता है ?

उत्तर अनुपातिक आय कर स्वः स्थिरक अर्थात आघात अवशोषक की प्रकृति में कार्य करता है। 

 

प्रश्न 113 अनुपातिक आय कर एक स्वः स्थिरक प्रयोज्य आय क्या है ?

उत्तर क्योंकि इससे सकल घरेलू उत्पाद में उच्चावचन के प्रति प्रयोज्य आय और उपभोक्ता का व्यय कम संवेदनशील होता है।

 

प्रश्न 114 सकल घरेलू उत्पाद में वृद्धि का प्रयोज्य आय पर क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर जब सकल घरेलू उत्पाद में वृद्धि है तो प्रयोज्य आय बढ़ती है। 

 

प्रश्न 115 राजकोषीय प्रणाली को स्व निर्णयगत नीति क्यों कहा जाता है ?

उत्तर राजकोषीय प्रणाली के अंत र्निहित स्वतः स्थिरक अभिलक्षणों से अलग करने के लिए इसे स्व निर्णयगत राजकोषीय नीति कहा जाता है। 

 

प्रश्न 116 अनुपातिक करो से किसमें मदद करती है ?

उत्तर अनुपातिक करो से अर्थव्यवस्था के उद्धगामी और अधोगामी संचलन के विरुद्ध स्थिरीकरण की स्थिति में लाने में मदद मिलती है।

 

प्रश्न 117 हस्तांतरणों के लिए संतुलन में परिवर्तन को कैसे ज्ञात किया जा सकता है ?

उत्तर

 

प्रश्न 118 बजटीय घाटे के लिए वित्तपोषण किस प्रकार किया जाना चाहिए ?

उत्तर बजटीय घाटे के लिए वित्तपोषण या तो करारोपण या ऋण-ग्रहण अथवा नोट छाप कर किया जाना चाहिए।

 

प्रश्न 119 घाटे और ऋण की संकल्पनाओं में कैसा संबंध होता है ?

उत्तर घाटे और ऋण की संकल्पनाओं में निकट संबंध होता है। 

 

प्रश्न 120 ऋण का संचय कब होता है ?

उत्तर यदि सरकार का ऋण-ग्रहण 1 वर्ष के बाद दूसरे वर्ष भी जारी रहता है, तो इससे ऋण का संचय होता है। और सरकार को ब्याज के रूप में अधिक भुगतान करना पड़ता है।

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प्रश्न 121.  किसी व्यापारी और सरकार के आर्थिक संसाधनों मे मुख्य अंतर बताइए? 

उत्तर किसी व्यापारी के विपरीत सरकार करारोपण के द्वारा और नोट छाप कर संसाधनों में वृद्धि कर सकती है। 

 

प्रश्न 122. ऋण-ग्रहण कर सरकार किस प्रकार उपभोग का बोझ अगली पीढ़ी को स्थानांतरित कर देती है ?

 

उत्तर ऋण-ग्रहण कर सरकार उपभोग का बोझ कम करने के लिए अगली पीढ़ी को स्थानांतरित कर देती है। क्योंकि सरकार आज बंध-पत्र जारी कर जनता से जो ऋण ग्रहण करती है और उसका भुगतान लगभग 20 वर्ष बाद कर में वृद्धि करके कर सकती है। 

 

प्रश्न 123. ऋण-ग्रहण को अगली पीढ़ी के लिए किस रूप में देखा जाता है ?

उत्तर ऋण-ग्रहण को अगली पीढ़ी पर “बोझ” के रूप में देखा जाता है।

 

प्रश्न 124. किस मत को रिकॉर्डो समतुल्यता कहते हैं ?

उत्तर उपभोक्ता आने वाली पीढ़ी के बारे में भी चिंतित है क्योंकि आने वाली पीढ़ियाँ वर्तमान पीढ़ी के ही बच्चे या नाती-पोते होते हैं, और परिवार जो एक इकाई है, हमेशा विद्यमान रहता है। वे अब अपनी बचत में वृद्धि करेंगे जिससे सरकार की  निर्बचत मे वृद्धि पूर्ण रूप से प्रतिसंतुलित हो जाएगी और इससे राष्ट्रीय बचत में कोई परिवर्तन नहीं होगा। इस मत को रिकॉर्डो समतुल्यता कहते हैं। 

 

प्रश्न 125. सबसे पहले किसने कहा कि उच्च घाटे की स्थिति में लोग अधिक बचत करते हैं ?

उत्तर  डेबिट रिकॉर्डो 

 

प्रश्न 126. समतुल्यता किसे कहते हैं ?

उत्तर उच्च घाटे की स्थिति में लोग अधिक बचत करते हैं, इसे समतुल्यता कहते हैं। 

 

प्रश्न 127. विदेशियों से लिया गया ऋण बोझ क्यों होता है ?

उत्तर विदेशियों से लिया गया कोई भी ऋण एक बोझ होता है, क्योंकि हमें ब्याज अदायगी के अनुरूप वस्तुएं विदेश भेजने पड़ती है। 

 

प्रश्न 128. घाटे सदैव स्फीतिकारी क्यों होते हैं ?

उत्तर घाटे सदैव स्फीतिकारी होते हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि जब सरकार व्यय मे वृद्धि अथवा करों में कटौती करती है, तो समस्त मांग में वृद्धि होती है।

 

प्रश्न 129 निवेश में कमी से निजी क्षेत्र के लिए उपलब्ध बचत की मात्रा में कमी क्यों होती है ?

उत्तर ऐसा इसलिए है क्योंकि यदि सरकार अपने घाटे की पूर्ति के लिए बंधपत्र जारी कर निजी लोगों से ऋण-ग्रहण करने का निर्णय लेती है तो यह बंधपत्र निगम बंधपत्र और निधि की पूर्ति के लिए उपलब्ध अन्य वित्तीय उपकरणों से स्पर्धा करेंगे। यदि निजी बचतकर्ता बंधपत्र खरीदने का निर्णय करते हैं, तो निजी क्षेत्र में निवेश करने के लिए शेष निधि की मात्रा अल्प होगी।

 

प्रश्न 130  क्या होगा जब सरकार अर्थव्यवस्था की कुल बचत के शेयर में वृद्धि का दावा करेगी ?

उत्तर  इस स्थिति में कुछ निजी ऋण ग्रहणकर्ता वित्तीय बाजारों के जन समूह में घिर जाएंगे।

सरकारी बजट एवं अर्थव्यवस्था

प्रश्न 131 अर्थव्यवस्था की बचत का प्रवाह कब तक निश्चित नहीं होगा ?

उत्तर  जब तक हम यह ना मान ले कि आय में वृद्धि नहीं हो सकती है।

 

प्रश्न 132 क्या होगा जब राजकीय घाटे से उत्पादन में वृद्धि का लक्ष्य प्राप्त होगा ?

उत्तर  तो आय अधिक होगी और बचत में भी वृद्धि होगी, इस स्थिति में सरकार और उद्योग दोनों अधिक से अधिक ऋण-ग्रहण कर सकते हैं।

 

प्रश्न 133 किसमें वृद्धि से वास्तविक ऋण का भुगतान किया जा सकता है ?

उत्तर  निर्गत में बढ़ोतरी से ही वास्तविक ऋण का भुगतान किया जा सकता है। 

 

प्रश्न 134 कब ऋण को बोझ के रूप में नहीं देखा जाएगा ?

उत्तर  यदि निवेशों का प्रतिफल ब्याज की दर से अधिक होता है और निर्गत में वृद्धि होती है, तब ऋण बोझ के रूप में नहीं देखा जाएगा।

 

प्रश्न 135 किस स्थिति में ऋण वृद्धि को उचित माना जाता है ?

उत्तर  संपूर्ण अर्थव्यवस्था के विकास की स्थिति में ऋण वृद्धि को उचित माना जाएगा।

 

प्रश्न 136 सरकारी घाटे में कमी किस प्रकार की जा सकती है ?

उत्तर  करों में वृद्धि अथवा व्यय में कटौती से सरकारी घाटे में कमी की जा सकती है।

 

प्रश्न 137 भारत मे सरकार कर राजस्व में वृद्धि करने के लिए किन करो पर ज्यादा भरोसा करती है ?

उत्तर  प्रत्यक्ष करों पर ।

 

प्रश्न 138 भारत मे सरकार कर राजस्व में वृद्धि करने के लिए अप्रत्यक्ष करों पर कम भरोसा क्यों करती है ?

उत्तर  अप्रत्यक्ष कर अपनी प्रकृति में प्रतिगामी होता है। और इनका प्रभाव सभी आय समूह के लोगों पर समान रूप से पड़ता है।

 

प्रश्न 139 सरकारी व्यय में कटौती किस प्रकार की जा सकती है ?

उत्तर: सरकार के कार्यकलापों को सुनियोजित कार्यक्रमों और सुशासनों के माध्यम से संचालित करने से ही सरकारी व्यय में कटौती की जा सकती है। 

 

प्रश्न 140 एफ. आर. बी. एम. ए. का पूरा नाम बताइए।

उत्तर: राजकोषीय उत्तरदायित्व और बजटीय प्रबंधन।

 

प्रश्न: 141 किसी अर्थव्यवस्था में अमंदी और सकल घरेलू उत्पाद में गिरावट कब देखने को मिलती है ?

उत्तर  यदि किसी अर्थव्यवस्था में अमंदी और सकल घरेलू उत्पाद में गिरावट देखने को मिलती है तो इसका कारण है कि फर्म और परिवार की जब आय कम होती है, तो वे कम कर अदा करते हैं। 

 

प्रश्न 142 अमंदी तथा तेजी की स्थिति का घाटे पर क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर: अमंदी की स्थिति में घाटे में बढ़ोतरी होती है, तथा तेजी की स्थिति में कमी। 

 

प्रश्न143 आवंटन, पुर्नवितरण और स्थिरीकरण इन तीनों के कार्यों का संचालन किसके माध्यम से होता है ?

उत्तर: आवंटन, पुर्नवितरण और स्थिरीकरण इन तीनों के कार्यों का संचालन सरकार के व्यय एवं प्राप्तियों के माध्यम से होता है। 

 

प्रश्न 144 राजकोषीय घाटे के प्रतिशत में राजस्व घाटे की वृद्धि क्या प्रदर्शित करती है ?

उत्तर: राजकोषीय घाटे के प्रतिशत में राजस्व घाटे की वृद्धि से निम्न पूंजी निर्माण सहित सरकारी व्यय की प्रकृति में गिरावट प्रदर्शित होती है।

 

प्रश्न 145 आनुपातिक करो से स्वायत्त व्यय गुणक कम क्यों होता है ?

उत्तर: आनुपातिक करो से स्वायत्त व्यय गुणक कम होता है क्योंकि करो के बाद शेष आय में से सीमांत उपभोग प्रवृत्ति में कमी आ जाती है।

सरकारी बजट एवं अर्थव्यवस्था

प्रश्न 146 यदि सार्वजनिक ऋण से भविष्य में निर्गत में वृद्धि प्रभावित होती है, तो …..?

उत्तर: यदि सार्वजनिक निर्णय भविष्य में निर्गत में वृद्धि प्रभावित होती है, तो यह एक प्रकार का बोझ है।

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