manav netra aur rang biranga sansar
मानव नेत्र तथा रंगबिरंगा संसार
समांतर अपवर्तक पृष्ठों के लिए आपतित किरण अपवर्तित किरण के होती हैं –
(A) समांतर
(B) असमांतर
(C) प्रतिच्छेदी
(D) लंबवत
कांच के एक त्रिभुज प्रिज्म में पृष्ठ होते हैं
(A) 3
(B) 4
(C) 5
(D) 6
कांच के एक त्रिभुज प्रिज्म में फलक होते हैं
(A) केवल त्रिभुजाकार
(B) केवल चर्तुभुजाकार
(C) दोनों
(D) कोई नहीं
कांच के एक त्रिभुज प्रिज्म में आधार पृष्ठ होते हैं
(A) केवल त्रिभुजाकार
(B) केवल चर्तुभुजाकार
(C) दोनों
(D) कोई नहीं
कांच के एक त्रिभुज प्रिज्म में कितने आधार पृष्ठ होते हैं
(A) 2
(B) 3
(C) 4
(D) 6
कांच के एक त्रिभुज प्रिज्म में पार्श्व पृष्ठ होते हैं
(A) केवल त्रिभुजाकार
(B) केवल चर्तुभुजाकार
(C) दोनों
(D) कोई नहीं
कांच के एक त्रिभुज प्रिज्म में कितने पार्श्व पृष्ठ होते हैं
(A) 3
(B) 4
(C) 5
(D) 6
त्रिभुज प्रिज्म के दो पार्श्व फलको के बीच के कोण को कहते हैं
(A) पृष्ठीय कोण
(B) प्रिज्म कोण
(C) परावर्तन कोण
(D) अपवर्तन कोण
उपरोक्त चित्र में आपतित किरण हैं –
(A) PE (B) EF
(C) FS (D) RS
उपरोक्त चित्र में अपवर्तित किरण हैं –
(B) EF
(C) FS
(D) RS
उपरोक्त चित्र में निर्गत किरण हैं –
(B) EF
(C) FS
(D) RS
उपरोक्त चित्र में आपतन कोण हैं –
(B) ∠r
(C) ∠a
(D) ∠e
उपरोक्त चित्र में अपवर्तन कोण हैं –
(B) ∠r
(C) ∠a
(D) ∠e
उपरोक्त चित्र में निर्गत कोण हैं –
(B) ∠r
(C) ∠a
(D) ∠e
उपरोक्त चित्र में प्रिज्म कोण हैं –
(B) ∠r
(C) ∠A
(D) ∠D
उपरोक्त चित्र में विचलन कोण हैं –
(B) ∠r
(C) ∠A
(D) ∠D
प्रिज्म में प्रवेश के समय प्रकाश की किरण –
(A) अभिलंब की ओर मुड़ जाती है
(B) अभिलंब से दूर मुड़ जाती है
(C) सीधी निकल जाती है
(D) पुनः 180 डिग्री पर लौट आती है
प्रिज्म से वायु में प्रवेश के समय प्रकाश की किरण –
(A) अभिलंब की ओर मुड़ जाती है
(B) अभिलंब से दूर मुड़ जाती है
(C) सीधी निकल जाती है
(D) पुनः 180 डिग्री पर लौट आती है
निर्गत किरण का आपतित किरण की दिशा के साथ बनने वाला कोण कहलाता हैं –
(A) विचलन कोण
(B) प्रिज्म कोण
(C) परावर्तन कोण
(D) अपवर्तन कोण